स्पोर्ट्स डेस्क, डीडीसी। क्रिकेक में कब क्या हो जाए, कुछ कहा नही जा सकता। जीतने वाला जीतते-जीतते हार जाता है और हार की दहलीज पर खड़ा बादशाह बन जाता है। ऐसा ही एक कारनामा क्रिकेक के इतिहास में हुआ। जब मैदान पर उतरी टीम के पहले बल्लेबाज ने पहली बॉल खेली और पहली ही बॉल पर 286 रन बना डाले। आइए बताते हैं कि ये कारनामा कैसे हुआ।
रिपोर्ट के मुताबिक वर्ष 1865 में ऑस्ट्रेलिया में डोमेस्टिक मैच के दौरान विक्टोरिया और स्क्रैच XI की टीम के बीच एक मैच खेला गया था। जिसमें एक बॉल पर 286 रन बने थे। मैच के दौरान विक्टोरिया के बैट्समैन ने एक जोरदार शॉट लगाया और बॉल पेड़ पर जाकर अटक गई। इसके बाद बैट्समैन के रन दौड़ने का सिलसिला शुरू हुआ। जब तक बॉल पेड़ पर रही, तब तक बैट्समैन रन दौड़ते रहे और इस दौरान उन्होंने 286 रन ले लिए। बैट्समैन को लगातार रन दौड़ते देख अपोजिट टीम के मेंबर्स ने उन्हें ऐसा करने से रोकने के लिए अंपायर से अपील करते हुए कहा कि बॉल को मिस बॉल घोषित कर दिया जाए, लेकिन अंपायर ने ऐसा नहीं किया, क्योंकि बॉल दिखाई दे रही थी। इधर, लगातार रन दौड़ने का सिलसिला जारी था। जब तक बॉल पेड़ से निकाली जाती, तब तक बैट्समैन ने 286 रन दौड़ कर बना लिए थे। बॉल निकाले जाने के बाद पारी घोषित कर दी गई और 286 रन बनाने वाली टीम जीत भी गई। रिपोर्ट के मुताबिक इतने रन दौड़ने के लिए बैट्समैन ने करीब छह किलोमीटर दौड़ लगाई थी। जब ये कारनामा हुआ तब एक बॉल पर मैक्सिमम रन दौड़ने की लिमिट तय नहीं थी। हालांकि बाद में नियमों में हुए बदलाव के मुताबिक अब एक बॉल पर बैट्समैन ज्यादा से ज्यादा सिर्फ तीन रन ही दौड़ सकता है।
गोली मार कर पेड़ से उतारी गई बॉल
पेड़ पर चढ़ कर बॉल उतारना असंभव था, ऐसे में एक तरीका था कि पेड़ काट दिया जाए। हालांकि इसमें काफी वक्त लगता और फिर न जाने कितने रन बन जाते। आखिरकार बॉल को पेड़ से निकालने के लिए एक अनोखा तरीका अपनाया गया। बॉल को बंदूक से गोली मारकर निकाला गया और इसके लिए कई गोलियां खर्च कर दी गईं थी।